झारखंड के बोरियो के पूर्व विधायक लोबिन हेंब्रम ने विधानसभा की सदस्यता खत्म किए जाने के खिलाफ झारखंड हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। उन्होंने हाईकोर्ट से जनहित के मुद्दों को उठाने के लिए मानसून सत्र तक सदस्यता बहाल करने की अपील की है। यह जानकारी लोबिन हेंब्रम ने पत्रकार वार्ता के दौरान दी।
लोबिन ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि झारखंड में लोकतंत्र की हत्या हुई है। झामुमो के लोगों ने स्पीकर पर दवाब बना कर उनकी सदस्यता खत्म कराई है। कहा कि दुख इस बात का है कि निर्दलीय के रूप में विधायक चमरा लिंडा ने भी चुनाव लड़ा था, लेकिन उनपर किसी तरह की कार्रवाई नहीं की गई। उन्होंने कहा कि एक अपराध के लिए एक को फांसी दे दी गई और एक को कुछ नहीं किया गया।
बता दें कि तीन दिन पहले ही दल-बदल के मामले में सुनवाई करते हुए स्पीकर न्यायाधीकरण ने बोरियो विधायक लोबिन हेंब्रम और मांडू विधायक जेपी पटेल की विस सदस्यता समाप्त कर दी थी। लोबिन हेंब्रम ने रबींद्र नाथ महतो को अब तक का सबसे कमजोर विधानसभा का स्पीकर बताया है।
संताल में आदिवासी कमजोर मुस्लिम आबादी हावी हेंब्रम
लोबिन ने कहा कि संताल में मुस्लिम समुदाय हावी होता जा रहा है। वहीं आदिवासी कमजोर हो रहा है। बांग्लादेश से घुसपैठ सबको पता है, लेकिन सरकार वोट बैंक बनाने में जुटी है। झारखंड समेत देश को इसका खामियाजा भुगतना पड़ेगा। आदिवासी महिलाओं से मुस्लिम शादी कर रहे हैं, जमीनें खरीदी जा रही हैं। आज आदिवासियों की आबादी 36 से घटकर 26 फीसदी रह गई है।