लोहरदगा। जिले की स्वास्थ्य सेवाओं की वास्तविक स्थिति जानने के लिए लोहरदगा लोकसभा क्षेत्र के सांसद सुखदेव भगत ने गुरुवार को सदर अस्पताल का औचक निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान अस्पताल की कई खामियां और अव्यवस्थाएं सामने आईं, जिन्हें देखकर सांसद ने गहरी नाराजगी जताई।
सांसद ने सिविल सर्जन से अस्पताल की चिकित्सा व्यवस्था, उपकरणों की स्थिति और मरीजों की शिकायतों की विस्तृत जानकारी ली। उन्होंने विशेष रूप से अल्ट्रासाउंड, डायलिसिस और ऑक्सीजन केंद्र की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाए। सांसद ने कहा कि कई मरीजों ने शिकायत की है कि अस्पताल से रेफर किए जाने के बाद कुछ दलाल उन्हें निजी नर्सिंग होम में भर्ती करा देते हैं, जिससे गरीब मरीजों को भारी आर्थिक नुकसान होता है। इस पर सांसद ने ऐसे दलालों की पहचान कर कड़ी कानूनी कार्रवाई करने का निर्देश दिया।
निरीक्षण के दौरान सांसद ने वार्डों का भ्रमण कर मरीजों से बातचीत की। इस दौरान उन्होंने एक मरीज को स्ट्रेचर पर अस्पताल से बाहर जाते देखा। पूछताछ में मरीज ने बताया कि डिजिटल एक्स-रे मशीन खराब होने के कारण उसे बाहर एक्स-रे कराने जाना पड़ रहा है। इस पर सांसद ने सिविल सर्जन से जवाब मांगा। सिविल सर्जन ने बताया कि मशीन एक महीने से खराब है और कंपनी को सूचना दी गई है, पर अब तक मरम्मत नहीं हुई। सांसद ने इस पर कड़ी नाराजगी जताते हुए कहा कि ऐसी लापरवाही अस्वीकार्य है और तुरंत एक्स-रे सेवा बहाल करने के निर्देश दिए।
मरीजों ने सांसद को अस्पताल में पेयजल की समस्या, डॉक्टरों की कमी और अन्य मूलभूत सुविधाओं की दिक्कतों से भी अवगत कराया। सांसद ने आश्वासन दिया कि जनहित से जुड़ी समस्याओं के समाधान के लिए यदि आवश्यक हुआ तो सांसद निधि से राशि उपलब्ध कराई जाएगी।
सिविल सर्जन ने जानकारी दी कि अस्पताल में स्वीकृत 32 पदों में से केवल 16 डॉक्टर कार्यरत हैं। जिले में कुल 92 स्वीकृत पदों में से सिर्फ 40 डॉक्टर उपलब्ध हैं। सर्जन, नेत्र चिकित्सक और रेडियोलॉजिस्ट के पद लंबे समय से रिक्त हैं। फिलहाल अल्ट्रासाउंड सेवा सप्ताह में दो दिन ही उपलब्ध है। डायलिसिस यूनिट की पांच मशीनों में से तीन चालू हैं जबकि दो खराब हैं, जिन्हें दुरुस्त करने की प्रक्रिया चल रही है।
सांसद ने स्वास्थ्य विभाग के सभी उपविभागों की कार्यप्रणाली की समीक्षा की और सिविल सर्जन को लापरवाह कर्मियों के खिलाफ कार्रवाई के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि जनता को बेहतर चिकित्सा सुविधा मिलना उनका अधिकार है, और इस दिशा में किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
निरीक्षण के दौरान सांसद के स्वास्थ्य प्रतिनिधि सोनू कुरैशी, सांसद प्रतिनिधि साजिद अहमद, निजी सचिव आलोक कुमार साहू, राजू कुरैशी समेत कई अन्य लोग उपस्थित थे।







