रांची: लोकसभा चुनाव से ठीक पहले जेएमएम से बीजेपी में शामिल हुई सीता सोरेन ने दुमका सीट पर अपनी हार का ठिकरा बीजेपी कार्यकर्ताओं और पार्टी के बड़े नेताओं पर फोड़ा है। लोकसभा चुनाव में कांटे के मुकाबले में सीता सोरेन को जेएमएम उम्मीदवार नलिन सोरेन के हाथों हार का सामना करना पड़ा था।
बिक गए थे बीजेपी के कार्यकर्ता
बीजेपी अभी हर लोकसभा क्षेत्र में हार की समीक्षा कर रही है, इसी बीच दुमका में सीता सोरेन ने अपनी हार के लिए बीजेपी कार्यकर्ता और पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के रवैये को जिम्मेदार ठहराया है। सीता सोरेन ने आरोप लगाते हुए कहा कि मैने जो देखा कि बीजेपी के संगठन में जो मजूबती होनी चाहिए थी, वो नहीं था। बीजेपी के कार्यकर्ता और जो कैडर थे वो पूरे मनमानी पर उतर आये थे, ये लोग बिक गये थे, विपक्ष के द्वारा ये कार्यकर्ता बिक गए, हमारे जो कैडर है वो बिक गये इसके कारण हार हुआ, हालांकि बहुत बड़े अंतर से हार नहीं हुआ, हमको पब्लिक ने पूरा वोट और प्यार दिया जिससे की हार का अंतर कम रहा।
प्रदेश अध्यक्ष और संगठन महामंत्री पर भी सवाल
सीता सोरेन ने आगे पार्टी के वरिष्ठ नेता और संगठन की जिम्मेदारी संभालने वाले नेता प्रदेश अध्यक्ष और संगठन महामंत्री के रवैये पर सवाल उठाते हुए कहा कि उन्होने शुरू से ही कार्यकर्ताओं पर ध्यान नहीं दिया और उनको मनमानी करने के लिए ठीला छोड़ दिया। इनकी वजह से कार्यकर्ताओं ने चुनाव में अपनी मनमानी की। कार्यकर्ता बिक गए थे इसलिए इनको नियंत्रण नहीं कर पाये संगठन के लोग, जो कंट्रोलिंग होनी चाहिए थी, संगठन की ओर से नहीं थी।
रणधीर, लुईस और सुनील पर बड़ा आरोप
सीता सोरेन ने आगे अंतिम वक्त में सुनील सोरेन का टिकट काटकर बीजेपी द्वारा उन्हे उम्मीदवार बनाये जाने पर कहा कि जो पार्टी होती है वो सर्वोपरि होती है, उसका निर्णय सबको मानना होता है। जो पार्टी का आदेश होता है उसपर सभी लोगों को चलना होता है, जो पार्टी का आदेश होता है उसपर चुनाव लड़ा जाता है। दुमका सीट के प्रभारी विधायक रणधीर सिंह, दुमका के पूर्व सांसद सुनील सोरेन और दुमका की पूर्व विधायक लुईस मरांडी पर आरोप लगाते हुए सीता सोरेन ने कहा कि ये व्यक्तिगत रूप से ये लोग मेरे साथ खड़े थे, लेकिन मेरे साथ खड़े होकर भी ये लोग खड़े नहीं थे, ये लोग भी बिक गए थे, ये लोग भी बिक गए थे, इसलिए हमारी हार हुई है नहीं तो इस सीट पर हमारी हार होती ही नहीं। इसकी शिकायत हमने पार्टी में की है।
सीता सोरेन द्वारा बीजेपी नेताओं पर लगाये गए आरोप के बाद बीजेपी के अंदर खलबली मच गई है। सीता सोरेन ने सारठ विधायक रणधीर सिंह पर साथ नहीं देने और बिकने का आरोप लगाया, इसके साथ ही दुमका की पूर्व विधायक लुईस मरांडी पर भी गंभीर आरोप लगाया है जबकि इन दोनों विधानसभा क्षेत्र में बीजेपी उम्मीदवार को बढ़त मिली थी। वही सुनील सोरेन को टिकट देने के बाद बीजेपी ने टिकट वापस ले लिया था और सीता सोरेन को उम्मीदवार बनाया था।