गिरीडीहः आजसू सुप्रीमो सुदेश महतो के सामने गिरिडीह को लेकर बड़ा कन्फ्यूजन हैं । एक तरह उनके पुराने साथी और पार्टी के कद्दावर नेता चंद्रप्रकाश चौधरी हैं तो दूसरी ओर हैं गिरिडीह में प्रत्याशी के चुनाव की चुनौती । एनडीए के सदस्य होने के नाते बीजेपी ने उन्हें झारखंड में एक सीट आजसू को दिया है और पिछली बार चंद्रप्रकाश चौधरी ने जीत हासिल कर ली थी लेकिन इस बार सांसद के खिलाफ ही लहर मानी जा रही है । कहा जा रहा है कि चंद्रप्रकाश चौधरी को अगर टिकट मिला तो बीजेपी के स्थानीय कार्यकर्ता और नेता हराने के लिए दम लगा देंगे । बात इतनी ही नहीं है , आजसू सुप्रीमो सुदेश महतो को जमीनी हकीकत भी पता है कि चंद्रप्रकाश चौधरी को लेकर गिरिडीह में भारी नाराजगी है । वजह है सांसद का इलाके से गायब रहना । स्थानीय लोग और कार्यकर्तओं के मुताबिक चंद्रप्रकाश चौधरी ने पांच सालों के दौरान पांच बार भी दर्शन नहीं दिए । कोई बड़ा प्रोजेक्ट, नई योजना और यहां तक की सुख दुख के भी भागी नहीं बने ।
ऐसे में सवाल यह है कि गिरिडीह में चंद्रप्रकाश चौधरी नहीं तो कौन? सुदेश महतो और बीजेपी के वरिष्ठ नेता इस पर मंथन कर रहे हैं , माना जा रहा है कि उपयुक्त उम्मीदवार मिलते ही चंद्रप्रकाश चौधरी का पत्ता साफ कर दिया जाएगा । दिल्ली की जगह रांची में चंद्रप्रकाश को जगह मिल सकती है । दरअसल सुदेश महतो को बीजेपी नेताओं ने साफ संदेश दे दिया है कि बीजेपी कार्यकर्ता चंद्रप्रकाश से भारी नाराज हैं और टिकट मिलने पर उनके लिए काम नहीं करने का मन बना लिया है । ऐसे में बिना बीजेपी कार्यकर्ताओं के समर्थन से आजसू को एकमात्र सीट बचाना मुश्किल हो जाएगा । दूसरी ओर बीजेपी कार्यकर्तओं ने उपर तक संदेश पहुंचाने में कामयाबी हासिल कर लही है कि मोदी के मिशन ४०० में चंद्रप्रकाश रोड़ा अटका सकते हैं लिहाजा कैंडिडेट बदल दे ।