रांची : मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के ईडी समन के बावजूद समय और तारीख नहीं बताना और गांडेय विधायक सरफराज अहमद के इस्तीफे के बीच झारखंड में राजनीतिक सरगर्मी बढ़ गई है। मौजूदा हालात को लेकर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन कानूनी सलाह ले रहे है, इसके साथ ही महाधिवक्ता से मुख्यमंत्री वर्तमान हालात पर भी चर्चा कर रहे है। ईडी ने समन जारी कर मुख्यमंत्री से दो दिनों के पूछताछ के लिए जगह और समय बताने को कहा था लेकिन मुख्यमंत्री ने कोई जवाब नहीं दिया, ऐसे में ईडी के अगले एक्शन और उसके बाद बदलने वाले राजनीतिक और संवैधानिक हालात पर चर्चा हो रही है।
31 दिसंबर को गांडेय विधायक सरफराज अहमद के इस्तीफा देने के बाद से गांडेय सीट पर होने वाले उपचुनाव को लेकर कई तरह के कयास लगाये जा रहे है। राजनीतिक जानकार बताते है कि उस सीट पर मुख्यमंत्री की पत्नी कल्पना सोरेन को चुनाव लड़ाया जा सकता है और उन्हे राज्य का अगला मुख्यमंत्री बनाया जा सकता है। ईडी के किसी तरह के एक्शन से पहले सारे राजनीतिक विकल्पों और संवैधानिक स्थिति को लेकर तैयारी की जा रही है।
राज्य में बढ़े राजनीतिक तापमान के बीच बुधवार को सत्तापक्ष के विधायक दलों की बैठक बुला ली गई है। 3 जनवरी को कांके स्थित मुख्यमंत्री आवास पर शाम 4.30 बजे विधायक दल की बैठक बुलाई गई है। झारखंड मुक्ति मोर्चा के केंद्रीय सचिव की ओर से जारी किये गए संदेश में सभी विधायकों को इस बैठक में उपस्थित होने को कहा गया है। माना ये जा रहा है कि इस बैठक में हर विकल्पों पर चर्चा होगी और आगे की रणनीति और राजनीतिक कदम को लेकर फैसला लिया जाएगा। किसी तरह का कोई संवैधानिक संकट न हो और राज्य में राजनीतिक अस्थिरता उत्पन्न नहीं हो उसकी तैयारी की जा रही है। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने सोमवार को खरसावां में सभा को संबोधित करते हुए कहा था कि मेरे गतिविधियों पर दिल्ली की नजर है और मुझे फंसाने की साजिश हो रही है। राजनीतिक मैदान में नहीं जीत सके तो एजेंसियों के माध्यम से परेशान कर रहे है।